प्याज के भाव में आयी गिरावट से गुजरात के किसानों की दिक्क्त बढ़ गई हैं

गुजरात राज्य में प्याज की बंपर पैदावार की वजह से इसके भावों में 5 से 7 रुपये प्रति किलोग्राम तक गिरावट देखी गई है। प्रदेश के राजकोट, भावनगर एवं सुरेंद्रनगर जनपदों में विशेष तौर पर प्याज का उत्पादन किया जाता है। बाजार में प्याज के भाव में कमी आने से गुजरात राज्य के किसानों की समस्याएँ काफी बढ़ गईं हैं। किसान भाई अपनी पैदावार को खेतों में फेंकने तक मजबूर दिखाई दे रहे हैं। प्रदेश कृषि विभाग के आंकड़ों के मुताबिक, 2020-21 में गुजरात में प्याज की कुल पैदावार 67,736 हेक्टेयर थी। जो कि 2021-22 में वृद्धि होकर 99,413 हेक्टेयर तक पहुँच चुकी है। भावनगर जनपद में 34,000 हेक्टेयर में प्याज की कृषि की गई थी। जो अगले वर्ष 34,366 हेक्टेयर में की गई है। इस बंपर पैदावार की वजह से बाजार में प्याज का भाव तकरीबन ₹5-7 प्रति किलोग्राम तक कम हो गया है। महुवा कृषि उपज विपणन समिति (एपीएमसी) के प्रमुख घनश्यामभाई पटेल का कहना है, कि 20 किलोग्राम प्याज की पैदावार करने हेतु 220 रुपये का व्यय किया जाता है एवं इसके तुलनात्मक एक किसान को औसतन 150 रुपये प्राप्त होते हैं। इसके अनुसार प्रत्येक किसान को प्रति 20 किलोग्राम पैदावार में 70 रुपये की हानि उठानी पड़ रही है। किसानों की प्रति एकड़ हानि करीब 50,000 रुपए से 1 लाख रुपए प्रति हेक्टेयर तक हो रही है। सीएमओ के बयान के अनुरूप मुख्यमंत्री ने किसानों की सहायता हेतु सरकार की प्रतिबद्धता के विषय में विधायकों एवं अन्य लोगों को आश्वस्त किया है। हालांकि, अब तक राज्य द्वारा समर्थन मूल्य का ऐलान नहीं किया गया है। विगत वर्ष राज्य सरकार द्वारा विधानसभा चुनाव से पूर्व प्याज किसानों हेतु 100 करोड़ रुपये के आर्थिक पैकेज का ऐलान किया था। ये भी पढ़ें: Onion Price: प्याज के सरकारी आंकड़ों से किसान और व्यापारी के छलके आंसू, फायदे में क्रेता इस दौरान भावनगर एवं राजकोट के स्थानीय नेता एवं विधायकों ने राज्य के अधिकारियों से प्याज किसानों हेतु एक पैकेज एवं न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) का ऐलान करने का आग्रह किया है। जिससे कि उनकी हुई हानि की भरपाई की जा सके। इसी मध्य कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता का कहना है, कि भावनगर एवं गुजरात के बाकी भागों में प्याज उत्पादित करने वाले किसान भाई बेहद समस्या में हैं। उनको एक किलो प्याज हेतु बड़ी कठिनाई से 2 रुपये प्राप्त हो रहे हैं। वह केंद्र एवं गुजरात सरकार दोनों से प्याज हेतु तुरंत एमएसपी का ऐलान करने का आग्रह करते हैं।